भटनेर पोस्ट न्यूज. हनुमानगढ़.
बार संघ अध्यक्ष जितेंद्र सारस्वत का तेवर वकीलों के एक गुट को बेहद रास आता है। हां, पुलिस और प्रशासनिक अधिकारियों के लिए उनका तल्ख अंदाज कई दफा असहनीय भी होता है। अरसे बाद जितेंद्र सारस्वत का अंदाज देख वकीलों में उत्साह का संचार हुआ तो पुलिस अधिकारियों को जैसे कुछ देर के लिए सांप सूंघ गया। आखिरकार वही हुआ जो वकील चाहते थे। दरअसल, एडवोकेट विनोद वर्मा व उनके सहायक के सथ कुछ लोगों ने मारपीट कर दी। वकीलों का कहना था कि पुलिस इस मामले में ढुलमुल रवैया अपना रही, जो उसका तरीका है। वकील चाहते थे कि पुलिस मामले में गंभीरता दिखाए लेकिन जांच अधिकारी उनकी एक नहीं सुन रहे थे। ऐसे में जब मुख्यमंत्री अशोक गहलोत का रावतसर-भादरा दौरा प्रस्तावित है, बार संघ ने मामले से सीएम को अवगत करवाने का निर्णय किया। यहां तक बात न बनने पर सीएम को काले झण्डे तक दिखाने का ऐलान कर दिया। इससे पुलिस सहम गई। खबर है कि पहले तो एसपी ने इसे गंभीरता से नहीं लिया लेकिन जब उन्हें जितेंद्र सारस्वत के बारे में फीडबैक दिया गया तो उन्होंने तत्काल मामले में हस्तक्षेप किया और वकीलों की भावना के अनुरूप जांच अधिकारी बदलने के आदेश दिए। एडवोकेट सारस्वत कहते हैं, ‘अधिकारी बदल देने मात्र से न्याय नहीं मिलता। पुलिस आरोपितों की गिरफ्तारी क्यों नहीं कर रही ?’ उन्होंने पुलिस की कार्यशैली पर सवाल उठाए और निर्धारित अवधि में न्याय नहीं मिलने पर आंदोलन करने की चेतावनी दी। इस मौके पर बार संघ सचिव प्रदीप सिंह, ओम बिश्नोई, नूर आलम, रघुवीर सिंह वर्मा, जयपाल झोरड़, रामकुमार खटोड़, योगेश झोरड़, अमित गोदारा, रोबिन सिंह, मनोज शर्मा, भवानी वर्मा ,ओम गोदारा, जोधा सिंह ,राजीव चौधरी, सुरेश दादरवाल, रामस्वरूप नांदेवाल, प्रदुमन सिंह परमार, दीपक सोनी, दलीप बसेर, दिलीप सारस्वत, प्रदीप मोहन भाटी, आत्मा राम भादू, रायसिंह बेनीवाल, लालचंद देवर्थ, राजेश, रामकुमार गोदारा, रमेश कुमार स्वामी, पवन शाक्य, सुधीर गोदारा, श्यामसुंदर स्वामी, राहुल सारस्वत, विनोद वर्मा, गुरमेल सिंह ,विक्रम सिंह, मनप्रीत सिंह, कुलदीप सिंह, गुरमीत सिंह, राजकुमार बागोरिया, गौरी शंकर, मनोज कुमार आदि मौजूद थे।