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युवा परिवार वेलफेयर फाउंडेशन यानी भगत सिंह फोर्स ने दो महत्वपूर्ण मुद्दों बालश्रम और नशे के खिलाफ बड़ी मुहिम की शुरुआत की है। फाउंडेशन की ओर से कलेक्टर को दो अलग-अलग ज्ञापन सौंपे गए, जिनमें प्रशासन से सहयोग की मांग की गई है। फाउंडेशन द्वारा पहले ज्ञापन में जिले के ईंट-भट्टों, फैक्ट्रियों व दुकानों पर हो रहे बालश्रम पर चिंता जताई गई है। संगठन ने हाल ही में जिलेभर में सर्वे कर बालकों को खतरनाक परिस्थितियों में कार्य करते पाया है। उन्होंने जिला प्रशासन से अनुरोध किया है कि बालश्रम की रोकथाम हेतु नियमित बैठकें आयोजित की जाएं तथा समय-समय पर सक्रिय स्वयंसेवी संगठनों के प्रतिनिधियों को सहयोग के लिए निर्देशित किया जाए। साथ ही इन बच्चों को शिक्षा की मुख्यधारा से जोड़ने के लिए उचित शैक्षणिक व्यवस्था करवाने की मांग की गई है। फाउंडेशन के अध्यक्ष विक्रम सिंह रामगढिया ने यह भी सुझाव दिया कि ईंट-भट्टों व दुकानों पर बालश्रम की निगरानी के लिए स्थायी टीम गठित की जाए तथा बालश्रम करवाने वाले व्यक्तियों के विरुद्ध सख्त कार्यवाही सुनिश्चित की जाए, जिससे भविष्य में इस प्रकार का शोषण दोबारा न हो।
दूसरे ज्ञापन में युवा परिवार वेलफेयर फाउंडेशन (भगत सिंह फोर्स) ने नशा मुक्ति अभियान की रूपरेखा प्रस्तुत करते हुए बताया कि वे युवाओं की टोली बनाकर गांव-गांव जाकर नशे के दुष्प्रभावों के बारे में जनजागरूकता फैलाएंगे। टीम ने प्रशासन से अनुरोध किया है कि उन्हें नशा बेचने वालों के खिलाफ अभियान चलाने व उनके खिलाफ सख्त कदम उठाने में सहयोग किया जाए।
फाउंडेशन अध्यक्ष विक्रम सिंह रामगढिया ने कहा कि समाज को नशे की गिरफ्त से बाहर लाने के लिए केवल पुलिस या प्रशासन की नहीं, बल्कि सामाजिक संगठनों की भी महत्ती भूमिका है। इसी उद्देश्य से उनकी टीम गांवों व वार्डों में नशा विरोधी रैलियां, नुक्कड़ नाटक व संवाद कार्यक्रम आयोजित करेगी। फाउंडेशन ने जिला प्रशासन से अपील की कि समाज के हित में इन दोनों गंभीर समस्याओं पर गंभीरता से कार्यवाही की जाए तथा फाउंडेशन को इन अभियानों में पूर्ण सहयोग दिया जाए, ताकि हनुमानगढ़ जिले को बालश्रम व नशा मुक्त बनाया जा सके। इस मौके पर विजय सोनी, विनोद सोनी, हरप्रीत सिंह सग्गु, चाणक्य शर्मा, गोविन्द सोनी सहित अन्य कार्यकर्ता मौजूद थे।





